आशाराम बापू के पुत्र नारायण साई को जेल से अवकाश नहीं – सुप्रीम कोर्ट !
गुजरात हाईकोर्ट का निर्णय रद्द, 14 दिन का फर्लो अवकाश नैसर्गिक अधिकार नहीं।
आशाराम बापू के पुत्र नारायण साई को जेल से अवकाश नहीं – सुप्रीम कोर्ट !
गुजरात हाईकोर्ट का निर्णय रद्द, 14 दिन का फर्लो अवकाश नैसर्गिक अधिकार नहीं।
सुप्रीम कोर्ट ने आज गुजरात हाईकोर्ट के निर्णय को खारिज करते हुए रेप अपराधी नारायण सांई हेतु फर्लो अवकाश को अधिकार मानने से इंकार कर दिया।
गुजरात के प्रभावशाली धर्म गुरू आशाराम बापू का पुत्र नारायण सांई बलात्कार और संगीन अपराध में आजीवन कारावास की सजा भुगत रहा है। पोलिटिकल और धनबल से लैस पिता – पुत्र जेल से बाहर आने के तिकड़म चलते रहते हैं और संगीन अपराध में सजा पाने के कारण सफल नहीं हो पाए हैं।
इस बार पुत्र ने बंबई फर्लो ओर पैरोल नियम 1959 की आड़ में सात साल सजा भुगतने के बाद हर साल मिलने वाली 14 दिन के फर्लो अवकाश की सुविधा गुजरात हाईकोर्ट के सिंगल बैंच से हासिल की थी और इसे डिविजन बैंच ने स्टे कर दिया था।
सरकार ने फर्लो अवकाश दिलाने के लिए सुप्रीमकोर्ट में अपील डाली थी। जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़ और जस्टिस बी वी नागरथ की बैंच ने गुजरात हाईकोर्ट के आदेश को खारिज कर दिया है।
नारियण सांई को अप्रैल 2019 में आजन्म कारावास की सजा हुई और उस से पहले अपने धन बल और पोलिटिकल रसूख से मामले को निपटाने के सारे प्रयास किए हैं।
पदचिह्न टाइम्स।